आज, 6 दिसंबर 2025 को आयोजितPress Conference Smart India Hackathon 2025 GLBajaj Institute of technology and Management सफलतापूर्वक आयोजित 9किया गया, और सत्र के दौरान रेखांकित सभी प्रमुख बिंदुओं पर प्रभावी ढंग से चर्चा की गई।
प्रेस नोट (हिंदी)
स्मार्ट इंडिया हैकथॉन (SIH) 2025 – 8वाँ संस्करण
प्रेस कॉन्फ़्रेंस | 6 दिसंबर | जी.एल. बजाज इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एंड मैनेजमेंट, ग्रेटर नोएडा
शिक्षा मंत्रालय के इनोवेशन सेल (MIC) तथा AICTE के संयुक्त तत्वावधान में भारत की सबसे बड़ी नवाचार पहल स्मार्ट इंडिया हैकथॉन (SIH) 2025 का 8वाँ संस्करण 8 दिसंबर 2025 से देशभर में आयोजित किया जा रहा है।
जी.एल. बजाज इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एंड मैनेजमेंट को इस वर्ष नोडल सेंटर के रूप में चयनित किया गया है, जो हमारे लिए गर्व का विषय है।
🔹 ग्रैंड फिनाले तिथियाँ
सॉफ्टवेयर संस्करण: 8–9 दिसंबर 2025
हार्डवेयर संस्करण: 8–12 दिसंबर 2025
कुल नोडल सेंटर: 60 (42 सॉफ्टवेयर + 18 हार्डवेयर)
🔹 राष्ट्रीय स्तर पर रिकॉर्ड सहभागिता
विचार प्रस्तुतियाँ (राष्ट्रीय स्तर)
प्राप्त कुल आइडियाज़: 72,165
कुल टीम्स: 68,766
समस्या वक्तव्य: 271
आंतरिक हैकथॉन (संस्थान स्तर)
हैकथॉन आयोजित करने वाले संस्थान: 2,587
प्रतिभागी टीम्स: 1,42,715
कुल छात्र: 8,26,635
कुल छात्राएँ: 3,34,456
यह सहभागिता विकसित भारत @2047 के प्रति युवाओं की प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
🔹 ग्रैंड फिनाले टीम चयन
कुल 1,360 टीम्स का चयन हुआ:
सॉफ्टवेयर टीम्स: 857
हार्डवेयर टीम्स: 403
कुल छात्र: 8,160
छात्राएँ: 2,993
ऑल-गर्ल्स टीम्स: 53
मेंटर्स: 1,365
भाग लेने वाले संस्थान: 727
प्रतिनिधित्व करने वाले शहर: 201
🔹 समस्या वक्तव्य – बहु-क्षेत्रीय सहयोग
58 केंद्रीय मंत्रालय/विभाग
15 राज्य विभाग
7 PSU एवं उद्योग सहयोगी
🔹 SIH – भारत के नवाचार तंत्र को मजबूती
SIH छात्रों को प्रदान करता है:
पेटेंट अवसर
स्टार्टअप निर्माण
उद्योग-अकादमिक सहयोग
तकनीकी समाधान
2017 से SIH दुनिया का सबसे बड़ा ओपन इनोवेशन मॉडल बन चुका है।
🔹 नेतृत्व के विचार
श्री पंकज अग्रवाल, वाइस चेयरमैन, जी.एल. बजाज
“हार्डवेयर के लिए SIH 2025 के नोडल केंद्र के रूप में चुना जाना और पूरे भारत में स्थित 18 केंद्रों में शामिल होना, जीएल बजाज के लिए बेहद गर्व की बात है। यह पहल नवाचार को बढ़ावा देने, युवाओं को सशक्त बनाने और भारत की तकनीकी प्रगति में योगदान देने के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाती है।”
प्रो. डॉ. प्रीति बजाज, निदेशक, GLBITM
आज सबसे कठिन चुनौती छात्रों में समस्या-समाधान कौशल को समझना है, और जब समस्याएं सरकार और मंत्रालय की ओर से हों और छात्रों द्वारा उनका समाधान किया जाए, तो इसका बहुत महत्व है, क्योंकि छात्र शासन का हिस्सा बन जाते हैं और विकसित भारत की ओर अग्रसर होते हैं।
सम्मेलन में प्रोफेसर (डॉ.) प्रीति बजाज, श्री सुनील दत्त, डॉ. शशांक अवस्थी, डॉ. महावीर एस. नरूका, डॉ. पूर्णेंदु शेखर पांडे, डॉ. मोहित बंसल, डॉ. सत्येन्द्र शर्मा, डॉ. पी. सी. वशिष्ठ, डॉ. संसार सिंह चौहान और डॉ. संजीव सिंह पिप्पल ने भाग लिया।

